मैं विश्वास करता हूँ की परमेश्वर मेरा चंगाकर्ता है। लेकिन अभी भी मेरे शरीर में बीमारी और दर्द क्यों है? अगर आप इतने दिनों से केवल अपने बीमारी और दर्द को ही देख रहे थे, तो अब इसे देखना बंद करें और यीशु को देखना शुरू कर दे। क्या उसने आपके दर्द और बीमारीयों को अपने ऊपर लिया या नहीं लिया?
परमेश्वर का वचन कहता है, “निश्चय उसने हमारे रोगों को सह लिया और हमारे ही दुःखों को उठा लिया…” (यशायाह 53ः4)। क्योंकि यीशु ने क्रुस पर आपके बीमारीयों और दर्द को पहले ही ले लिया है, अब उसे वह आपके उपर नही छोड़ सकता। अगर दर्द और बीमारी के कारण आपके लिए यह विश्वास करना मुश्किल भी हो, तौभी यह सच्चाई नहीं बदलेगी की उसने आपके उस जानलेवा दर्द के लिए भी किमत चुका दी है। उसने चंगाई और उद्धार के कार्य को पुरा कर दिया है!
आपको यह समझना जरूरी है कि परमेश्वर यह नहीं कह रहा है कि आपकी बीमारी का कोई अस्तित्व नहीं है या फिर आप अपने बीमारी का न होना का दिखावा करें। वह यह कह रहा है कि आप अपने बीमारी और दर्द से अपना ध्यान हटा कर उस सत्य को देखे जो यह कहती है की परमेश्वर ने क्रुस पर अपने बेटे के शरीर में आपके बीमारी का न्याय पहले ही कर दिया है।
एक बार, जब वे जंगल में ही थे, तो इस्त्रालीयों को जहरीली सांपो ने काटा। वे सांप सच में थे। उनका काटा जाना दर्द से भरा और घातक था। इसलिए परमेश्वर ने मुसा को कहा की लोगो को बोले की उस पीतल के सांप को देखे जो खंभे पर था-यीशु का प्रतीक (यूहन्ना 3ः14)। पीतल न्याय को दर्शाता है। दुसरे शब्दों में सांप जो समष्या थी- क्रुस पर उसका न्याय हो चुका है।
जितने लोगो ने उस सांप पर अपनी आँखे लगाई, वे जिवित रहे। जितने लोगो ने अपना ध्यान अपने घाव पर लगाए, वे मारे गए। इसलिए अपनी बीमारीयो को देखना बंद कर दे। उसके बदले क्रुस पर ध्यान दे जहाँ, यीशु के शरीर में बीमारीयों का न्याय किया गया। सच में उसने आपके बीमारीयों को उठा लिया और आपके दर्द को सह लिया! यही परमेश्वर के वचन की सत्यता है। और उसका वचन समान्य ज्ञान के उपर है।
आप अपने समान्य ज्ञान को या फिर परमेश्वर के वचन की सत्यता को अपनी समष्या पर, अपने चुनाव के द्वारा राज्य करने देते है- और वह चुनाव होता है, आपका ध्यान केंद्रिंत करने के द्वारा। आप जिस चिज पर ध्यान केंद्रिंत करेंगें वह आपकी सत्यता बन जाएगी। इसलिए आज ही निर्णय ले कि आप अपनी समष्या पर अपना ध्यान नही देगें। इसके बजाए आप परमेश्वर के वचन के सत्यता पर और मसीह के कार्य पर ध्यान देंगे- और जीवित रहेंगे!
प्रार्थना और घोषणा
पिता, मैं आपको धन्यवाद देता हूँ की आपने मेरी चंगाई का प्रबंध दो हजार साल पहले ही कर दिया। मैं आपके चंगाई में प्रतिदिन जीता हूँ! आपका वचन जो मेरे लिए कहता है, वही मेरी जीवन की सच्चाई है, और यह सच्चाई स्थिर है। मैं प्रत्येकदिन आपके पुत्र के पुर्ण कार्य पर मनन करता हूँ, क्योंकि वही मेरे शरीर और सेहत की सच्चाई है, यीशु के नाम से, आमीन!